छत्तीसगढ़बिलासपुर संभाग

नरवा विकास योजना सूखे और अल्प बारिश में साबित हो रही है संजीवनी।

नरवा विकास से भूजल स्तर में 2.26 प्रतिशत एवं फसल उत्पादन में 2.41 प्रतिशत की वृद्धि

बिलासपुर । सूखे और अल्प बारिश की हालात में फसलों को बचाने के लिए राज्य सरकार की नरवा संवर्द्धन विकास योजनाएं संजीवनी साबित हो रही है। प्रथम चरण में चयनित नरवा में संपादित कार्य से नरवा के भूजल स्तर में 2.26 प्रतिशत वृद्धि मापी गई है। इसी प्रकार 149.94 हैक्टेयर सिंचित क्षेत्रफल एवं 2.41 प्रतिशत फसल उत्पादन में वृद्धि नरवा उपचार के उपरांत हुई है।
जिले में प्रवाहित नालों को जीवित करने के लिए सुराजी ग्राम विकास योजना के तहत् नरवा विकास अंतर्गत प्रथम चरण में चार विकासखण्डों के 38 नरवा का चिन्हांकन कर नरवा के उद्गम से समागम स्थल तक ग्राउंड टूथिंग कराया जाकर डीपीआर तैयार किया गया है। जिसमें 153 ग्राम पंचायतों के 364.26 किलोमीटर क्षेत्र में प्रवाहित नरवा के तहत् 33.32 किलोमीटर वन क्षेत्र में तथा 330.94 किलोमीटर का क्षेत्र राजस्व में सम्मिलित है। इनमें 72865 हैक्टेयर एरिया का केचमेंट सम्मिलित है। उक्त 38 नरवा में ड्रेनेज लाईन ट्रीटमेंट के तहत् 1101 कार्य एवं एरिया ट्रीटमेंट के तहत् 527 कार्य कुल 1628 कार्य स्वीकृत करते हुए नरवा पुनरूद्धार के 1297 कार्य पूर्ण किये गये है। जिनमें ड्रेनेज लाईन ट्रीटमेंट के तहत् चेकडेम 49, अर्दनगली प्लग 168, लूज चेकडेम 563, गेबियन 31, अर्दनडेम 2, डाईप 5, चेकडेम 2, नाला गहरीकरण 64 एवं सिल्ट चेम्बर 6 कुल 886 कार्य किये गये है। इसी प्रकार एरिया ट्रीटमेंट 7 कार्य, प्लाटेंशन 1, डबरी 18, तालाब गहरीकरण 124, कूप निर्माण 2, रिचार्ज फीट 199, परकुलेशन टेंक 17, फार्म बन्डिंग 40, कन्टूर ट्रेंच 1, कन्टूर बन्डिंग 1, डब्लू एटी 1 इस प्रकार कुल 411 कार्य किए गए है।
आगामी वर्षाें में भी नरवा उपचार के कार्याें के फलस्वरूप भूजल स्तर सहित फसल उत्पादन में भी वृद्धि होगी। जिससे जिले का जल स्तर भी बढ़ेगा एवं इसके सकरात्मक परिणाम परिलक्षित होंगे।

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